मनोहर लाल खट्टर का अचानक से हटना, मोदी की गारंटी में मोदी का विश्वास घटना

0

मनोहर लाल खट्टर का अचानक से हटना, मोदी की गारंटी में मोदी का विश्वास घटना

  1. नीरव समदर्शी

मनोहर लाल खट्टर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बहुत पुराने साथियों में से एक है। इसके बावजूद बिना किसी पूर्व सूचना के अचानक से उन्हें मुख्यमंत्री की कुर्सी से है हट जाने को कहा गया और उनके स्थान पर एक नया नाम दे दिया गया। वह नया नाम उस नायाब सैनी का आया। जो स्थानीय चुनाव में अपनी पत्नी को नहीं जिता पाए थे।‌ नायाब सैनी की पत्नी स्थानीय चुनाव में चौथे नंबर पर रही थी। हरियाणा के मुख्यमंत्री के तौर पर ऐसे व्यक्ति का नाम चयनित करना यह स्पष्ट दर्शाता है कि हरियाणा सरकार हरियाणा से नहीं बल्कि दिल्ली दरबार से चलाई जाएगी। यानी हरियाणा के संचालक की अपने हर छोटे बड़े निर्णय के लिए दिल्ली पर निर्भरता होगी। जब मनोहर लाल खट्टर को मुख्यमंत्री के लिए चयनित किया गया था तब भी किसी ने यह नहीं सोचा था कि मनोहर लाल खट्टर को मुख्यमंत्री बनाया जाएगा। वह कहीं से भी मुख्यमंत्री के दौर में नहीं थे। दिग्गज से दिग्गज भाजपाई और संपूर्ण मीडिया जगत अचंभित रह गया था। मतलब यह कि उस वक्त भी ऐसा मुख्यमंत्री का चुनाव किया गया था जिसकी अपनी कोई बड़ी छवि ना हो और उसे अपने दैनिक प्रशासकीय कार्य के लिए भी मोदी छवि पर निर्भर रहना पड़े। यहां सवाल यह उठता है कि जब खट्टर के रहते भी हरियाणा में लोकसभा चुनाव मोदी के नाम पर ही लड़नी थी तो अचानक से खट्टर को क्यों बदल दिया गया। मनोहर लाल खट्टर का बदला जाना यह बताता है कि भाजपा को हरियाणा में अपने सीट बचाने के लिए नए नाम की जरूरत थी। किसान आंदोलन और अन्य कारणों की वजह से हरियाणा में मनोहर लाल खट्टर की छवि बिगड़ गई थी। तात्पर्य यह कि प्रधानमंत्री को अपने इस विश्वास में कमी हो गई थी। कि हरियाणा लोकसभा चुनाव उनके अपने नाम पर जीता जा सके। और इस विश्वास के पूर्ति के लिए मनोहर लाल खट्टर को हटाकर वहां नया नाम दे दिया गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का अपने प्रति विश्वास का घटना चुनाव विश्लेषकों का यह विश्वास बढ़ाता है कि इस बार लड़ाई 400 पार की नही 270पार की है। यानी एक -एक सीट पर सम्पूर्ण शक्ति लगानी पड़ रही है। फिर दूसरा सवाल स्वयं खड़ा हो जाता है कि याब खट्टर के बाद कौन ????

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here