पूर्वी चंपारण के केशरिया में आजादी का जश्न मनाने में राष्ट्रीय ध्वज फहराने की सभी को छूट है। लेकिन ऐसा करते समय नियमों को ध्यान में रखा जाना चाहिए,क्योंकि इसका अपमान अथवा अनादर करना दंडनीय अपराध है।फ्लैग कोड़ ऑफ इंडिया(भारतीय ध्वज संहिता) नाम का एक कानून है। जिसमें तिरंगें को फहराने के कुछ नियम कानून दिये गये है। लेकिन सभी नियमों को ताख पर राष्ट्रीय ध्वज जो देश का आन बान और शान है जो केसरिया में काफी मजाक बना कर रख दिया है।75 वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर प्रखंड परिसर में परामर्शी समिति के अध्यक्ष रेणु कुमारी साह व BDO आभा कुमारी ने संयुक्त रूप से राष्ट्रीय ध्वज फहराने के समय राष्ट्रीय ध्वज की रस्सी टूट कर जमीन पर गीर गई।और इसके बाद राष्ट्रीय ध्वज को पाईप में निचे ही खोल कर पाईप के सहारे उपर टांग दिया गया।फिर भी एक बहुत बड़ी चूक हो गई तिरंगें को लहराते समय रस्सी को पाईप से बांधना भूल गये।और ध्वज को सलामी दी गई। राष्ट्रगान हुआ।और हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी लोग हर्षोल्लास पूर्वक राष्ट्रीय पर्व को मनाते हुए लोग दूसरे संस्थान पर चल दिए।इसे भुल कहे या फिर जान बूझकर भूल करना भी कह सकते हैं।लेहाजा झंडोत्तोलन के पूर्व 24 घंटा का समय हर पदाधिकारी को मीलता है इसमे अपने राष्ट्रीय ध्वज को दूरुस्त करने का। बावजूद इसके केसरिया में हर ध्वजारोहन के समय कहीं ना कहीं चूक हो ही जाती है।जो कहीं ना कहीं प्रशासन की चूक है।तिरंगा टूट कर गिरने की खबर पूरे बाजार में मिट्टी के तेल की तरह फ़ैल गई है। लोगों में हर चौक चौराहों पर इसकी चर्चाएं सूर्खियों में है।इस संदर्भ में स्थानीय BDO आभा कुमारी से फोन पूछे जाने पर फोन उठाना मुनासिब नहीं समझा।इस ध्वजारोहन के समय थानाध्यक्ष रोहित कुमार,सिओ प्रवीण कुमार सिन्हा, भाजपा नेता विजय जयसवाल,जदयू नेता वशील अहमद खां,नगर पैक्स अध्यक्ष विशूराज सिंह, कांग्रेस नेता प्रफूल्ल कुंअर,नगर उप मुख्य पार्षद रौशन कुमार,शिक्षक संघ के नेता सीताराम यादव, सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।